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एक किसान कितने सर्टिफिकेशन ले सकता है?/How many certifications can a farmer take?

 एक किसान कितने सर्टिफिकेशन ले सकता है?

 क्या एक ही किसान एक से अधिक जैविक खेती के सर्टिफिकेशन ले सकता है? जानिए NPOP, PGS और अन्य सर्टिफिकेशन के नियम, फायदे नुकसान  — पूरी जानकारी इस लेख में।

How many certifications can a farmer take?


🌿 भूमिका: 

जैविक खेती और प्रमाणन की आवश्यकता

भारत में जैसे-जैसे जैविक उत्पादों की मांग बढ़ रही है, वैसे-वैसे Organic Certification की ज़रूरत भी महत्वपूर्ण होती जा रही है। यदि कोई किसान अपने उत्पादों को "जैविक" के नाम से बाजार में बेचना चाहता है, तो उसे किसी न किसी प्रमाणन संस्था (Certification Body) से प्रमाणपत्र लेना अनिवार्य होता है।


  1. यह प्रमाणन यह साबित करता है कि आपकी फसलें बिना रासायनिक खाद और कीटनाशकों के उगाई गई हैं,
  2. पर्यावरण-अनुकूल तरीके से उत्पादन हुआ है,
  3. अंतरराष्ट्रीय या राष्ट्रीय जैविक मानकों का पालन करती हैं।

लेकिन कई किसानों के मन में एक सवाल ज़रूर आता है:


🧑‍🌾 "क्या मैं एक से ज़्यादा सर्टिफिकेशन ले सकता हूँ?"

🧑‍🌾 "क्या दोनों सर्टिफिकेट जैसे PGS और NPOP  एक साथ मिल सकते हैं?"

🧑‍🌾 "कौन सा सर्टिफिकेशन किस फसल के लिए होता है?"


आइए इस लेख में विस्तार से समझते हैं…


🧾 भारत में प्रचलित जैविक सर्टिफिकेशन सिस्टम

भारत में दो प्रमुख तरह के जैविक प्रमाणन सिस्टम हैं:


1. ✅ PGS India Certification (Participatory Guarantee System)

सरकारी योजना: PGS India (PGS-Green / PGS-Organic)

उद्देश्य: छोटे किसानों को लोकल ग्रुप के माध्यम से कम खर्च में प्रमाणन देना

फीस: लगभग मुफ्त (सरकार वहन करती है)

कवरेज: घरेलू बाजार


2. ✅ NPOP Certification (National Programme for Organic Production)

संस्था: APEDA द्वारा संचालित

उद्देश्य: इंटरनेशनल स्तर पर ऑर्गेनिक एक्सपोर्ट को प्रमोट करना

फीस: निजी सर्टिफिकेशन एजेंसी द्वारा तय की जाती है (₹10,000+ सालाना)

कवरेज: भारत + विदेशी बाजार (EU, USA, Canada)


🎯 मुख्य सवाल: क्या किसान दोनों सर्टिफिकेशन ले सकता है?

उत्तर:

हां, एक किसान एक से अधिक जैविक सर्टिफिकेशन ले सकता है, लेकिन कुछ शर्तों और बातों का ध्यान रखना जरूरी है:


उदाहरण:

किसान का नाम खेती क्षेत्र सर्टिफिकेशन

रामू यादव 5 एकड़ 2 एकड़ पर PGS India, 3 एकड़ पर NPOP

सुनील वर्मा 10 एकड़ PGS + Fair Trade Certification


🔍 किन-किन Certifications को एक साथ लिया जा सकता है?

Certification का नाम क्या साथ में ले सकते हैं? टारगेट मार्केट

PGS India + NPOP ✅ हां घरेलू + निर्यात दोनों

NPOP + EU Organic ✅ हां Export के लिए आवश्यक

NPOP + USDA Organic ✅ हां USA Export के लिए

NPOP + Fair Trade ✅ हां Ethical Farming Verification


🧑‍🏫 एक से अधिक सर्टिफिकेशन लेने के फायदे

🔸 1. फसल आधारित Certification

आप अलग-अलग फसलों के लिए अलग सर्टिफिकेशन ले सकते हैं।

जैसे: सब्जियों के लिए PGS और फल निर्यात के लिए NPOP।


🔸 2. बाजार की पहुंच बढ़ती है

एक किसान यदि घरेलू और अंतरराष्ट्रीय दोनों बाजारों को टारगेट करना चाहता है तो PGS और NPOP दोनों जरूरी हो सकते हैं।


🔸 3. विशेष ब्रांड वैल्यू बनती है

⚠️ ध्यान रखने योग्य बातें

❌ 1. एक ही जमीन पर एक ही समय में दो जैविक सर्टिफिकेशन संभव नहीं है

अगर आपने पहले ही  एक खेत को PGS के तहत सर्टिफाई किया है, तो ऐसे में आप उसी खेत पर वर्तमान अवधि में आप  NPOP Certification के लिए eligible नही है!!


हां, अलग-अलग प्लॉट्स पर अलग-अलग प्रमाणन लिया जा सकता है।


2. दस्तावेज़ों की पारदर्शिता जरूरी है

सभी प्रमाणन के लिए रिकॉर्ड, खेत की मैपिंग, और ट्रेनिंग की डिटेल्स अलग-अलग रखनी होती है।


3. Certification overlap से बचें

एक ही फसल को दो प्रमाणपत्रों के तहत न बेचें, नहीं तो यह धोखाधड़ी मानी जा सकती है।


📚 एक किसान को किन डॉक्युमेंट्स की जरूरत होगी?

  • भूमि का खसरा-खतौनी
  • खेत का नक्शा
  • पिछली 3 साल की खेती का रिकॉर्ड
  • Input रिकॉर्ड (खाद, कीटनाशक, बीज आदि)
  • प्रशिक्षण प्रमाण पत्र (यदि हो)
  • समूह या Individual Application Form


🕐 सर्टिफिकेशन प्राप्त करने में लगने वाला समय

  • Certification अनुमानित समय
  • PGS India 6–12 महीने
  • NPOP 1–2 साल
  • USDA Organic 1–2 साल
  • EU Organic 1–2 साल
  • Fair Trade 6 महीने


💡 सुझाव: यदि आप Export की सोच रहे हैं

  • पहले PGS में अनुभव लें
  • फिर NPOP के लिए आवेदन करें
  • यदि ग्राहक/बायर मांग करें तो Global GAP, USDA आदि लें
  • अधिक Certification से बिक्री के अवसर बढ़ते हैं लेकिन खर्च और रिकॉर्ड-कीपिंग भी बढ़ती है


📌 FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले सवाल)

❓ 1. क्या एक किसान PGS और NPOP दोनों ले सकता है?

✔️ हां, लेकिन अलग-अलग प्लॉट्स या फसलों पर ही। एक ही खेत पर एक समय में दो Certification नहीं हो सकते।


❓ 2. क्या Certification हर साल Renew करना होता है?

✔️ हां, सभी जैविक प्रमाणपत्र सालाना नवीनीकरण (Renewal) के साथ आते हैं।


❓ 3. क्या Certification फ्री में मिल सकता है?

✔️ PGS India में अधिकतर लागत सरकार उठाती है। NPOP में फीस देनी पड़ती है।


❓ 4. क्या Certification में फसलें बदलने पर फिर से कराना पड़ता है?

✔️ नहीं, लेकिन फसल की जानकारी को Update करना आवश्यक होता है।


❓ 5. Certification लेने के बाद क्या तुरंत जैविक टैग लगा सकते हैं?

❌ नहीं, Transition Period (1–3 साल) के बाद ही उत्पाद को Certified Organic कहा जा सकता है।


✍️ निष्कर्ष

एक किसान एक से अधिक सर्टिफिकेशन ले सकता है, बशर्ते कि:

जमीन और फसल अलग-अलग हों

प्रक्रिया पारदर्शी और रिकॉर्डेड हो

नियमों का पालन किया जाए

ज्यादा प्रमाणपत्र मतलब ज्यादा बाजार और ज्यादा मूल्य — लेकिन इसके साथ ज़िम्मेदारी भी बढ़ती है। इसलिए सही योजना और मार्गदर्शन के साथ Certification लें।


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